भारत में सोने की कीमतों में ऐतिहासिक उछाल ?
भारत में सोने की कीमतों में ऐतिहासिक उछाल, ईद 2025 पर बनाया नया रिकॉर्ड
नई दिल्ली। भारत में सोने की कीमतों ने इस हफ्ते की शुरुआत में अब तक की सबसे बड़ी छलांग लगाई है और ईद 2025 के अवसर पर एक नया ऐतिहासिक रिकॉर्ड बना दिया है। बीते कुछ हफ्तों से सोने की कीमतों में लगातार बढ़ोतरी देखी जा रही थी, लेकिन इस बार का उछाल निवेशकों और आम जनता दोनों के लिए चौंकाने वाला साबित हुआ है।
सोने की कीमतों में तेजी के कारण
विशेषज्ञों के अनुसार, वित्तीय वर्ष के अंतिम दिनों में सोने की मांग बढ़ने से इसके दामों में तेजी आई है। इसके अलावा, वैश्विक आर्थिक अनिश्चितताओं, डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट और महंगाई दर में वृद्धि भी सोने की कीमतों को प्रभावित कर रहे हैं।
ईद के मौके पर सोने की खरीदारी में जबरदस्त इजाफा हुआ है। इस्लामिक परंपराओं में सोने को शुभ माना जाता है, और इसी कारण इस त्योहारी सीजन में सोने की मांग बहुत अधिक बढ़ जाती है। ज्वेलरी मार्केट में भी रौनक देखने को मिल रही है, जहां ग्राहक भारी संख्या में सोने के आभूषण खरीदने आ रहे हैं।
सोने की कीमतों में रिकॉर्ड तोड़ वृद्धि
आज बाजार खुलते ही सोने की कीमतें नए उच्चतम स्तर पर पहुंच गईं। 24 कैरेट सोने की कीमत प्रति 10 ग्राम 75,000 रुपये तक पहुंच गई, जो अब तक का सबसे ऊंचा स्तर है। 22 कैरेट सोना भी 69,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर को पार कर चुका है। यह वृद्धि पिछले सप्ताह के मुकाबले लगभग 4% अधिक है।
निवेशकों और आम जनता की प्रतिक्रिया
सोने की कीमतों में इस भारी बढ़ोतरी से निवेशकों को फायदा हुआ है, लेकिन आम जनता के लिए यह चिंता का विषय बन गया है। शादी-विवाह और अन्य पारंपरिक अवसरों पर सोने की खरीदारी करने वाले लोगों को अब अधिक कीमत चुकानी पड़ रही है। कुछ खरीदारों ने उम्मीद जताई है कि आने वाले दिनों में सोने की कीमतों में स्थिरता आएगी।
वहीं, ज्वेलरी व्यवसायियों का कहना है कि भले ही कीमतें बढ़ रही हैं, लेकिन ग्राहकों की रुचि अब भी बनी हुई है। कई ग्राहक ऊंची कीमतों के बावजूद खरीदारी कर रहे हैं क्योंकि उन्हें डर है कि आगे चलकर दाम और अधिक बढ़ सकते हैं।
अंतरराष्ट्रीय बाजार का असर
सोने की कीमतों में यह उछाल केवल भारत में ही नहीं, बल्कि अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भी देखने को मिल रहा है। अमेरिका और यूरोप में आर्थिक अनिश्चितताओं और फेडरल रिजर्व की नीतियों की वजह से सोने की मांग बढ़ रही है। इसके अतिरिक्त, चीन और रूस जैसे देशों में भी सोने की खरीदारी में वृद्धि हुई है, जिससे इसकी कीमतों में तेजी बनी हुई है।
आगे क्या होगा?
विशेषज्ञों का मानना है कि निकट भविष्य में सोने की कीमतों में और भी बढ़ोतरी हो सकती है। अगर वैश्विक आर्थिक परिस्थितियां स्थिर नहीं होतीं और महंगाई दर में इजाफा जारी रहता है, तो सोने के दाम 80,000 रुपये प्रति 10 ग्राम तक भी पहुंच सकते हैं।
हालांकि, कुछ विश्लेषकों का यह भी कहना है कि वित्तीय वर्ष की समाप्ति के बाद और त्योहारी मांग के खत्म होने के साथ ही सोने की कीमतों में कुछ गिरावट आ सकती है।
सोने की कीमतों में यह ऐतिहासिक उछाल न केवल निवेशकों और कारोबारियों के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि आम जनता के लिए भी चर्चा का विषय बना हुआ है। आने वाले दिनों में यह देखना दिलचस्प होगा कि सोने की कीमतें किस दिशा में जाती हैं। फिलहाल, ईद 2025 पर यह नई ऊंचाई भारत के सोने के बाजार के लिए एक ऐतिहासिक क्षण के रूप में दर्ज हो चुकी है।
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