गांधी परिवार के बिना… कांग्रेस ज़िंदा रहेगी या बिखर जाएगी?"
"क्या आप सोच सकते हैं… कांग्रेस, और उसमें गांधी परिवार न हो?
क्या आप मान सकते हैं… कांग्रेस बिना राहुल, बिना सोनिया, बिना प्रियंका…?
सवाल बड़ा है –
कांग्रेस टिकेगी या बिखर जाएगी?
कांग्रेस चलेगी या रुक जाएगी?
क्योंकि सच्चाई ये है…
गांधी परिवार ही कांग्रेस का सबसे बड़ा सहारा है…
और सबसे बड़ी कमज़ोरी भी!"
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"क्या कांग्रेस… सच में सिर्फ़ गांधी परिवार है?
क्या बिना राहुल… बिना प्रियंका… बिना सोनिया… कांग्रेस का वजूद ही ख़त्म हो जाएगा?
या फिर… कांग्रेस गांधी परिवार से आज़ाद होकर… एक नई शुरुआत कर सकती है?
यही है आज का बड़ा सवाल!
"भारत की सबसे पुरानी पार्टी… जिसने देश को आज़ादी दिलाई… जिसने नेहरू, शास्त्री, इंदिरा, राजीव जैसे प्रधानमंत्री दिए… वो पार्टी आज एक मोड़ पर खड़ी है।
कांग्रेस और गांधी परिवार – क्या ये दोनों एक-दूसरे के बिना ज़िंदा रह सकते हैं?
राहुल गांधी… बार-बार चुनाव हारने के बाद भी पार्टी का चेहरा बने हुए हैं।
प्रियंका गांधी – उम्मीदें बड़ी थीं, लेकिन ज़मीन पर नतीजे? बहुत मामूली।
और सोनिया गांधी – अब उम्र और सेहत दोनों की मजबूरी है।
तो सवाल है – क्या कांग्रेस को वंशवाद के खोल से बाहर निकलना चाहिए?
"इंडिया टुडे-सीवोटर सर्वे कहता है – 49% लोग मानते हैं कि कांग्रेस गांधी परिवार के बिना बेहतर प्रदर्शन कर सकती है।
लाइवमिंट की रिपोर्ट साफ कहती है – अगर कांग्रेस राहुल गांधी की छाया से निकले, तो संगठन खड़ा हो सकता है।
फाइनेंशियल एक्सप्रेस लिखता है – कांग्रेस का सबसे बड़ा संकट है ‘लीडरशिप वैक्यूम’।
और डीएनए इंडिया तो खुलकर कह देता है – कांग्रेस, गांधी परिवार की प्राइवेट लिमिटेड कंपनी बन चुकी है।
"तो क्या कांग्रेस… बिना गांधी परिवार… सच में टिक पाएगी?
या फिर कांग्रेस का मतलब ही गांधी परिवार है?
क्या खड़गे, सचिन पायलट, अशोक गहलोत जैसे नेता कांग्रेस का नया चेहरा बन सकते हैं?
या फिर जनता सिर्फ़ गांधी परिवार को ही कांग्रेस का पर्याय मानती रहेगी?
असली डर है कांग्रेस का…
अगर गांधी परिवार नहीं रहा, तो कांग्रेस एकजुट रह पाएगी क्या?
इतिहास गवाह है – जब-जब गांधी परिवार पीछे हटता है, कांग्रेस के बड़े नेता अपने-अपने अधिकार दिखाने लगते हैं।
गुटबाज़ी शुरू हो जाती है, खींचतान शुरू हो जाती है।
खड़गे जी अपनी पकड़ दिखाएँगे,
सचिन पायलट राजस्थान में अपनी दावेदारी ठोकेंगे,
अशोक गहलोत अपनी ‘पुरानी पारी’ पर अड़ जाएंगे।
मतलब साफ है – गांधी परिवार के बिना कांग्रेस… और बिखर जाएगी… और टूट जाएगी!
यानी कांग्रेस का गोंद ही गांधी परिवार है।
गोंद हटेगा… तो पार्टी टुकड़ों में बंट जाएगी।
तो जवाब साफ है –
कांग्रेस गांधी परिवार के बिना टिक नहीं सकती।
और यही कांग्रेस की सबसे बड़ी ताक़त भी है… और सबसे बड़ी कमज़ोरी भी!"
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